दूध वाला पर निबंध | Essay On Milkman In Hindi

Essay On Milkman In Hindi : नमस्कार दोस्तों आपका स्वागत है, आज हम दूध वाला पर निबंध लेकर आए हैं. जीवन में बहुत से लोग कठिन परिश्रम और तपस्या से जीवन व्यतीत करते हैं,

उन्ही में से एक है दूधवाला, जो नित्य हमारे घर आकर दूध देता है जिससे ही चाय, कॉफ़ी बनती हैं. आज के दूध वाले के निबंध, भाषण, अनुच्छेद, लेख, पैराग्राफ में हम इसके जीवन को शोर्ट में समझने का प्रयास करेंगे.

Essay On Milkman In Hindi

Essay On Milkman In Hindi

दूधवाला पर निबंध 350 शब्दों में

शहरों में बसनें वाले लोगों के दिन की शुरुआत दूधवाले या अखबार वाले के आने के बाद ही शुरू होती हैं. दूध वाला हमारे बीच ही रहने वाला मेहनती किसान व पशुपालक होता हैं.

जो शहर से कुछ दूरी पर अपने खेतों या घर से पशुओं का दूध दूहकर जल्दी सवेरे या शाम को साइकिल या मोटर साइकिल पर दूध के पात्र बांधकर निकलता हैं.

एक दूधवाला एक व्यक्ति है जो हमें दूध पहुँचाता है। वह सुबह जल्दी उठता है और गाँव के डेयरी किसान से दूध इकट्ठा करता है। कई मील की यात्रा करने के बाद वह दूध के लिए घर-घर पहुंचता है।

वह अपनी साइकिल या मोटरसाइकिल पर दूध के कंटेनर ले जाता है। उनका जीवन बहुत कठिन है और वे अल गर्मियों, सर्दियों और बारिश में काम करते हैं। हमारे लिए इतनी मेहनत करने के लिए हमें उनका आभारी होना चाहिए।

प्रत्येक सवेरे हमारे घर पर समय पर दूध पहुचाना दूधवाले का पहला दायित्व होता हैं. वह अपनी जिम्मेदारियों को सही ढंग से निभाने के लिए आधी रात को उठकर पशुओं को चारा डालता है फिर उनसे दूध निकालकर पात्र में डालकर हमारे घरों की ओर प्रस्थान करता हैं.

अब धीरे धीरे दूधवाले की प्रथा खत्म होती जा रही हैं. लोग अपने मोहल्ले के पास वाली दूकान से बंद पैकेट का दूध खरीदते है अथवा दूध डेयरी से ले आते हैं. घर में फ्रिज में रखकर कई दिनों तक उपयोग कर लेते हैं.

एक दूधवाला सरल, मितव्ययी, सादा जीवन जीने वाला मेहनती इन्सान होता हैं, अमूमन सभी मोहल्लेवालों के साथ उनके मधुर सम्बन्ध होते हैं.

एक किलों या दस किलों दूध लेने वाले सभी लोगों को वह मधुर मुस्कान के साथ शुभ दिन की शुभेच्छा दे आता हैं. गाँवों में आज भी दूधवाला अपनी साइकिल पर आकर सेवा देता हैं.

वह एक इन्सान है उसका अपना परिवार है कई बार स्वास्थ्य कारणों से भी वह दूध की डिलीवरी नहीं कर पाता है तो किसी वैकल्पिक स्रोत के जरिये वह अपने ग्राहकों तक दूध पहुंचाने का काम करता हैं.

आमतौर पर डेयरी के दूध से कम कीमत पर ताजे एवं स्वास्थ्यवर्धक दूध का स्रोत दूधवाला ही हैं, जो अपनी उत्कृष्ट सेवाएं अपने समाज को देता हैं. मनुष्य होने के नाते हमें उनके कठिनाइयों भरे जीवन के प्रति सहानुभूति रखते हुए उनकी भावनाओं का सम्मान करना चाहिए.

दूधवाला पर निबंध 500 शब्दों में

जब हम रोजाना सुबह उठते हैं और मंजन करते हैं तो उसके बाद हमें सबसे पहली याद चाय की ही आती है जो कि दूध के द्वारा बनाई जाती है और यही दूध हमारे घरों तक पहुंचाने का काम जो व्यक्ति करता है उसे दूधवाला कहा जाता है। 

भारत के शहरी इलाके में दूधवाला लोगों के घरों पर बहुत कम ही दूध देने के लिए जाता है क्योंकि शहरी इलाके में पैकेट बंद दूध डेयरी की दुकान पर मिल जाते हैं परंतु भारत के ग्रामीण इलाके में दूधवाला लोगों के घर-घर तक जाकर के दूध देने का काम करता है।

दूध के व्यवसाय में पहले से ही पुरुषों का वर्चस्व रहा है। हालांकि हरियाणा और राजस्थान जैसे राज्यों में महिलाएं भी दूध निकालने का और दूध बेचने का काम करती हैं। कई महिलाएं तो स्वयं सहायता समूह बनाकर के दूध बेचने का काम करती है। 

दूधवाला बहुत ही मेहनती होता है क्योंकि उसे दूध की प्राप्ति करने के लिए दिन भर गाय और भैंस जैसे जानवरों की सेवा करनी होती है और उन्हें समय पर चारा पानी देना होता है साथ ही समय होने पर उन्हें दूध निकाल कर के उसे सुरक्षित तौर पर डेयरी में पहुंचाना होता है अथवा लोगो के घर घर तक पहुंचाना होता है।

एक दूधवाला रोजाना सुबह जल्दी उठ जाता है और उसके बाद वह गाय और भैंस जैसे जानवरों से दूध निकाल कर के उसे बड़े बड़े डिब्बे में डालता है और फिर साइकिल पर अथवा मोटरसाइकिल पर डिब्बों को रखकर वह घर-घर तक दूध देने के लिए जाता है।

हर व्यक्ति दूध वाले से यही अपेक्षा करता है कि वह रोजाना समय पर उन्हें दूध की डिलीवरी कर दें। दूध वाले स्वभाव के बहुत ही मिलनसार होते हैं और यह समय के भी बहुत ही पाबंद होते हैं।

सर्दी, गर्मी या फिर बरसात जैसे मौसम में यह अपने काम में बिल्कुल भी ढीला ढाली नहीं करते हैंल इनका सिर्फ एक ही लक्ष्य होता है, अपने ग्राहक तक सही समय पर दूध पहुंचाना।

दूधवाले के द्वारा अपने काम को पूरी ईमानदारी के साथ किया जाता है और इसीलिए हमें दूध वाले का सदा सम्मान करना चाहिए और उनके काम का आदर करना चाहिए।

हालांकि सभी दूध वाले ईमानदार नहीं है क्योंकि कुछ दूधवाले दूध के व्यवसाय के द्वारा अधिक पैसे कमाने के लिए दूध में पानी मिलाकर के दूध बेचते हैं। ऐसे में हमें ऐसे दूध वालों से दूध नहीं लेना चाहिए।

भारत के शहरी इलाके में तो अब दूध वाले धीरे-धीरे गायब होते जा रहे हैं क्योंकि इस व्यवसाय से अमूल, मदर डेयरी और नमस्ते इंडिया जैसी कई कंपनियां जुड़ गई हैं, जो विज्ञापन के द्वारा जनता को अपने डिब्बाबंद दूध या फिर पैकेट बंद दूध को खरीदने के लिए उत्साहित करती हैं।

हालांकि यह बड़ी-बड़ी कंपनियां भी कहीं ना कहीं गाय और भैंस पालने वाले पशुपालकों से ही दूध की खरीदारी करती हैं। इसलिए यह कहा जाता है कि अगर दूध वाले अपने जानवरों का दूध इन कंपनियों को ना दे तो यह कंपनियां घाटे में चली जाएंगी। इस प्रकार से किसी भी अवस्था में दूध वाला दूध प्राप्त करने के लिए एक महत्वपूर्ण व्यक्ति होता है।

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दोस्तों उम्मीद करता हूँ Essay On Milkman In Hindi निबंध में दी गई जानकारी आपकों पसंद आई होगी, यहाँ हमने दूधवाला पर निबंध स्पीच शोर्ट में प्रस्तुत किया हैं. यहाँ दी गई जानकारी पसंद आई हो तो इसे अपने दोस्तों के साथ भी शेयर करे.

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