Biography of Shubhangi Swaroop in Hindi: प्रथम भारतीय महिला पायलट शुभांगी स्वरूप. अब वह बात गुजरे जमाने की हो गई , जब यह कहा जाता था कि पुरुष ही बाहर के कार्य करेगे और महिलाएं घर की चहारदीवारी के अंदर रहेगी.
अब तो महिलाओं ने अपने बुलंद हौसलों और मेहनत से यह बता दिया हैं कि यदि उन्हें अवसर मिले तो वे न सिर्फ आसमान को छू सकती हैं, बल्कि आसमान में उड़ान भरकर भी दिखा सकती हैं.
शुभांगी स्वरूप जीवन परिचय Biography of Shubhangi Swaroop in Hindi
पूरा नाम | लेफ्टिनेंट शुभांगी स्वरूप |
जन्म | 17 जनवरी 1995 |
उम्र | 27 साल |
सेवा के वर्ष | 2017–वर्तमान |
पद | भारतीय नौसेना में लेफ्टिनेंट |
ख्याति | भारत की पहली महिला पायलट |
पिता | ज्ञान स्वरूप |
माँ | कल्पना स्वरूप |
जी हाँ, शुभांगी स्वरूप ऐसी ही महिला पायलट बन गई हैं जो आसमान में उड़ान भर रही हैं. भारतीय इतिहास में शुभांगी स्वरूप का नाम स्वर्णाक्षरों में अंकित हो गया हैं.
क्योंकि वे पहली भारतीय महिला हैं. जो इंडियन नेवी में पायलट बनी हैं. वे उत्तरप्रदेश की रहनेवाली हैं. उनके पिता ज्ञान स्वरूप नौसेना के अधिकारी हैं.
उनके पिता के भी नौसेना अधिकारी होने से यह बात साबित हो गई हैं कि घर के परिवेश का बच्चों के मन पर गहरा असर पड़ता हैं. यदि माता पिता अपने बच्चों को बचपन से सकारात्मक परिवेश देने का प्रयास करते हैं तो बच्चे अपने स्वप्नों को हासिल कर लेते हैं.
परिवार व करियर
यूपी के शाहजहांपुर के कुंवरगंज की रहने वाली शुभांगी के दादा का नाम रमेश चन्द्र गुप्ता है इनके पिताजी ज्ञान स्वरूप नौसेना के कमांडर रहे है इनकी माँ का नाम कल्पना स्वरूप हैं.
पायलट प्रशिक्षण के लिए स्वरूप को हैदराबाद के डिंडिगुल वायु सेना अकादमी भेजा गया, जहाँ रहकर उन्होंने सेना, नौ सेना तथा वायु सेना के पायलट की ट्रेनिंग ली. आजकल शुभांगी फिक्स्ड विंग डॉर्नियर 228 टोही विमान उड़ाकर देश की समुद्री सीमाओं की रखवाली कर रही हैं.
प्रथम भारतीय महिला पायलट शुभांगी स्वरूप की कहानी (The story of the first Indian woman pilot Shubhangi Swaroop)
शुभांगी स्वरूप को हैदराबाद के दुंदिगल में वायु सेना अकादमी में प्रशिक्षण दिया गया था. शुभांगी स्वरूप प्रशिक्षण प्राप्त करने के पश्चात वे मेरीटाइम रिकानकायसंस प्लेन उडाएगी. शुभांगी इससे पहले नौसेना की एविएशन ब्रांच में वायु यातायात नियंत्रण अधिकारी और विमान में पर्यवेक्षक अधिकारी के तौर पर काम कर चुकी हैं.
एन ए आई शाखा पर नौसेना के हथियारों और गोला बारुंड के आडिट एवं आंकलन की जिम्मेदारी होती हैं. यह शाखा बहुत महत्वपूर्ण होती हैं.
अभी नई दिल्ली की आस्था सहगल, पदुचेरी की रूपा ए और केरल की शक्ति माया एस. को नौसेना की नेवल आर्मामेंट इंस्पेक्टोरेट शाखा की महिला अधिकारी बनने का गौरव प्राप्त हुआ हैं.
शुभांगी स्वरूप के साथ ही अन्य महिला अधिकारियों ने अपने ज्ञान और मानसिक ताकत से यह बता दिया हैं कि महिलाएं शारीरिक रूप से भी कमजोर नहीं होती हैं.
इसी बात को भारत की एकमात्र महिला कमांडो डॉ सीमा राव ने भी साबित किया हैं. वे अभी तक 20 हजार जवानो को ट्रेनिंग दे चुकी हैं. वे ब्लैक बेल्ट प्राप्त महिला हैं.
इस प्रकार महिलाओं ने अपनी राह में आने वाली बाधा को दूर कर लक्ष्य को हासिल करना सीख लिया हैं. महिलाओं की इस जीत हर महिला को राह दिखाती हैं और जीने के नये मार्ग सीखाती हैं.
बात अगस्त 2010 की हैं नौसेना वौइस् एडमिरल केएन सुशिल ने दक्षिण नौसेना कमान में कॉमनवेल्थ खेलों की बेटन थामी और नेवी चिल्ड्रन स्कूल में पढने वाली शुभांगी स्वरूप को सौपी.
Indian Navy first lady Pilot Shubhangi Swaroop: मुजफ्फरपुर की बेटी सब लेफ्टिनेंट शिवांगी स्वरूप ने नौसेना की पहली महिला पायलट बनने का गौरव हासिल किया.
2 दिसम्बर 2019 को शिवांगी प्रशिक्षण पूरा कर ओपरेशन ड्यूटी में शामिल हो गई. उन्हें नौसेना के दक्षिणी कमांड हेड एके चावला ने बैज लगाया.
अब 24 वर्षीय शिवांगी डोर्नियर 228 सर्विलांस एयरक्राफ्ट उड़ाएगी. यह एयरक्राफ्ट हिंदुस्तान एयरोनाटिक्स लिमिटेड ने तैयार किया हैं.